लखनऊ में सावरकर की जयंती पर ‘वीर सावरकर- जो भारत का विभाजन रोक सकते थे और उनकी राष्ट्रीय सुरक्षा दृष्टि’ पुस्तक का विमोचन किया. इस मौके पर सीएम योगी ने कहा कि आजादी के बाद जो सम्मान वीर सावरकर को मिलना चाहिए था वो नहीं मिला. यहां तक उन्हें 1960 तक उनकी पैतृक संपत्ति नहीं मिली.
सीएम योगी ने कहा कि एक ही जीवन में उन्हें 2 बार आजीवन कारावास की सजा दी गई. उन्हें कई दिनों तक पता ही नहीं चला कि उनका भाई भी जेल में बंद है. हिंदुत्व शब्द वीर सावरकर ने दिया है. हिंदी व्याकरण के बहुत सारे शब्द वीर सावरकर की देन हैं. लेकिन उस समय की सरकार ने वीर सावरक की तुलना जिन्ना से करने का प्रयास किया. यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शनिवार को कांग्रेस पर बड़ा आरोप लगाते हुए कहा कि सावरकर जैसे क्रांतिकारी, लेखक, दार्शनिक, कवि का अपमान करने में कांग्रेस ने कोई कोर कसर नहीं छोड़ी। कहा कि सत्ता लोलुप राजनीतिक दलों ने सावरकर की तुलना जिन्ना से की गई।
मुख्यमंत्री योगी आज विनायक दामोदर सावरकर की जयंती पर उदय माहुरकर एवं चिरायु पंडित की सद्य: प्रकाशित पुस्तक ‘वीर सावरकर- जो भारत का विभाजन रोक सकते थे और उनकी राष्ट्रीय सुरक्षा पुस्तक का विमोचन के मौके पर बोल रहे थे। योगी ने कांग्रेस पर हमला बोलते हुए कहा कि सत्ता लोलुप राजनीतिक दलों ने सावरकर की तुलना जिन्ना से की। यह सावरकर ही थे जिन्होंने कहा था जिन्ना की सोच संकुचित है, संकीर्ण है राष्ट्रतोड़क है, जिन्ना भारत के विभाजन का कारक है।
उन्होंने कहा कि अगर सावरकर की बात कांग्रेस ने मान ली होती तो देश का विभाजन नहीं होता। सावरकर ने कहा था कि पाकिस्तान आएंगे जाएंगे लेकिन हिंदुस्तान हमेशा रहेगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि तुष्टिकरण की नीति के कारण हम समझौते की टेबल पर हार जाते थे। सावरकर की प्रतिभा को छुपाने के प्रयास पहले अंग्रेजों ने और आजादी के बाद कांग्रेस ने किया।योगी ने कहा कि वो लोग कहते थे कश्मीर से 370 समाप्त नहीं हो सकता, आज हो गया। वीर सावरकर का एक ही लक्ष्य था कि देश आजाद हो। उनका पूरा जीवन देश को दिव्य ²ष्टि देकर गया है।
अयोध्या में राम मंदिर का निर्माण आजादी के तत्काल बाद होने चाहिए थे वो आज हो रहा है। मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि उत्तरप्रदेश में रामनवमी पर कहीं कोई दंगे नहीं हुए, सड़क पर नमाज नहीं हुए, सड़क कोई धार्मिक कार्यक्रम के लिए नही होते, धर्मस्थलों पर लगे माइको से आज उत्तरप्रदेश की जनता काफी सुकून महसूस कर रही होगी।
मुख्यमंत्री ने पुस्तक के प्रकाशन के लिए प्रभात प्रकाशन को धन्यवाद देते हुए कहा कि सावरकर जी की कृति हर पुस्तकालय विश्वविद्यालय में जानी चाहिए, थीसिस होनी चाहिए, शोध होने चाहिए। आज की पीढ़ी को उनके विचार पढ़ने और आत्मसात करने चाहिए।
मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि सावरकर जी के बारे जरा सा अगर उन लोगों को पता होता तो उन लोगों के बेशर्मी के बोल न निकलते, ऐसे लोगों ने बेशर्मी की चादर ओढ़ ली, उन्हें सावरकर जी की वीरता का ज्ञान ही नहीं था।